ग्रामीणों की शिकायत के बाद थाना प्रभारी पांडुका लाइन हाजिर

गरियाबंद। ग्राम कुटेना के ग्रामीणों की शिकायत के बाद थाना प्रभारी सूर्यकांत भारद्वाज को लाइन हाजिर कर दिया गया है। ज्ञात हो कि गुरुवार देर रात जिले के राजिम मेला ग्राउंड में पहुंचे स्कूल शिक्षा उच्च शिक्षा संसदीय कार्य धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व मंत्री बृजमोहन अग्रवाल तथा राजिम विधायक रोहित साहू के समक्ष ग्राम कुटेना के ग्रामीणों ने उनके गांव के छः निर्दोष लोगों को पुलिस थाना प्रभारी द्वारा विभिन्न 10 से अधिक धाराओं में फंसा कर जेल भेजने का आरोप लगाया। ग्रामीणों के अनुसार जिस घटना के आरोप में गांव के लोगों पर अपराध कायम किया उस घटना के समय ये ग्रामीण या तो अपने घरों में थे या इनमें से कुछ गांव से बाहर शादी सगाई के कार्यक्रम में गये हुये थे। ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि बिना किसी जांच निर्दोष ग्रामीणों को आरोपी बना दिया गया।

क्या थी घटना 
दरअसल विगत माह 29 जनवरी की रात खनिज विभाग की टीम अवैध रेत उत्खनन की कार्यवाही के लिये कुटेना रेत घाट पहुंची थी , जहां कुछ लोगों ने उनके साथ मारपीट कर दी साथ ही ये टीम जिस वाहन में पहुंची थी उसे भी क्षतिग्रस्त कर दिया गया था।
माइनिंग इंस्पेक्टर सुभाष साहू की रिपोर्ट पर 30 जनवरी को पांडुका थाने में महेश छाबडा,सुरेश,कलीराम साहू,राहुल बाँधेकर तथा एक अज्ञात के विरुद्ध 10 से अधिक धाराओं में नामजद एफआईआर दर्ज की गई। बताया गया कि इस घटना में कुछ अन्य अज्ञात व्यक्ति भी शामिल थे।
पुलिस अधिकारियों के अनुसार इन्ही अज्ञात व्यक्तियों की शिनाख्ती के बाद कुटेना निवासी छ लोगों पर अपराध पंजीबध्द किया गया, किन्तु ग्रामीण अपनी इस दलील पर कायम थे कि थाना प्रभारी द्वारा जिन पर कार्यवाही की गई, वे निर्दोष है। विधायक रोहित साहू ने कहा कि मामले की जांच कराई जाएगी,जांच में दोषी पाये जाने पर सम्बंधित के विरुद्ध भी एफआईआर कराई जाएगी।
इस जांच कार्यवाही के पहले ही पुलिस अधीक्षक द्वारा मामले की गंभीरता को समझते हुये थाना प्रभारी को रक्षित केंद्र भेज दिया गया।

माइनिंग की कार्यवाही संदिग्ध 

सूत्रों की माने तो खनिज विभाग द्वारा 29 जनवरी की कोहरे  और ठंडी रात में कुटेना रेत घाट की कार्यवाही संदेहास्पद है। जिस माइनिंग विभाग के कर्मी दिन में एकाएक किसी कार्यवाही के लिये तत्पर नही होते, वो उस रात किस तरह कार्यवाही के लिए तैय्यार हो गये ? दरअसल बताया जा रहा है कि ये घटना जिले में सक्रिय रेत माफियाओं के आपसी कॉम्पिटिशन का नतीजा है। इनमें से एक गुट को फायदा पहुंचाने की गरज से ” नमक के दरोगा, उस रात सक्रिय हुये थे।

"छत्तीसगढ़ 24 न्यूज़" के लिए किरीट ठक्कर की रिपोर्ट
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किरीट ठक्कर "छत्तीसगढ़ 24 न्यूज़" संवाददाता

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